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मुद्रा पूर्ण

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80 लाभार्थियों को मिला प्रधानमंत्री मुद्रा योजना का लाभ: फतेहपुर में 7 वर्ष पूर्ण योजना के तहत दिया गया लाभ, लोगों ने शुरू किया व्यवसाय

यूपी के फतेहपुर में प्रधानमंत्री मुद्रा योजना के 7 वर्ष पूरे होने पर जनपद के विभिन्न बैंकों में मुद्रा लोन प्राप्त करने वाले उपभोक्ताओं के साथ मिलकर कार्यक्रम आयोजित किए गए। इस योजना का मुख्य उद्देश्य उन लोगों को वित्तीय सहायता उपलब्ध करवाना है जो खुद अपना व्यवसाय शुरू करने में सक्षम नहीं है। प्रधानमंत्री मुद्रा योजना के अंतर्गत लाभार्थी को खुद का छोटा व्यवसाय शुरू करने के लिए रुपए तक का लोन प्रदान किया जाता है।

योजना के संबंध में जानकारी देते हुए बड़ौदा मुद्रा पूर्ण बैंक के शाखा प्रबंधक आशीष तिवारी ने बताया कि इस योजना से जहां छोटे व्यवसायियों को उनका रोजगार शुरू करने के लिए लोन उपलब्ध हो जाता है। लोन प्राप्त करने के बाद व्यवसायी अपना व्यवसाय समुचित रूप से बढ़ा सकता हैं। उन्होंने बताया कि हमारी शाखा से मुद्रा पूर्ण अभी तक 80 लोगों को इस योजना से जोड़ा गया है। जिसका लाभ वह अपने अपने रोजगार को बढ़ाकर ले रहे हैं।

लाभार्थियों को दिया जा रहा 1 लाख का लोन

मुद्रा योजना का लाभ प्राप्त करने वाली सुशीला ने बताया कि हमें बैंक में मुद्रा योजना के मुद्रा पूर्ण बारे में जानकारी हुई बैंक के कर्मचारियों के सहयोग से कुछ ही दिनों में हमें हमारी दुकान खोलने के लिए 1 लाख का लोन प्राप्त हुआ। जिसके जरिए से हम अपनी परचून की दुकान चलाकर अपनी आमदनी बढ़ा पाये है और घर खर्च में अपना भी योगदान दे पाते है। वहीं नरेंद्र ने बताया कि बैंक से लोन लेकर अपनी कॉस्मेटिक की दुकान गांव में खोली समय पर लोन लोन भरने के चलते बैंक के द्वारा हमारी लिमिट बढ़ाई गई और हमें बैंक द्वारा पहले से अधिक लोन दिया गया। जिसके चलते हम आर्थिक रूप से मजबूत हो पाएं है और अपने बच्चों को अच्छी शिक्षा प्रदान कर रहे हैं।

डेली न्यूज़

हाल ही में प्रधानमंत्री की अध्यक्षता में केंद्रीय मंत्रिमंडल (Union Cabinet) ने 'प्रधानमंत्री मुद्रा योजना' (Pradhan Mantri Mudra Yojana- PMMY) के तहत सभी शिशु ऋण (Shishu Loan) खातों पर 12 माह की अवधि के लिये 2% की ‘ब्याज सब्सिडी योजना’ (Scheme of Interest Subvention) को मंज़ूरी प्रदान की है।

मुद्रा (Currency)

विमुद्रीकरण – जब काला धन बढ़ जाता है और अर्थव्यवस्था के लिए खतरा बन जाता है तो इसे दूर करने के लीये विमुद्रीकरण को अपनाया जाता है | इसके अंतर्गत सरकार अपनी पुरानी मुद्रा को समाप्त कर देती है और नई मुद्रा चालु कर देती है जनके पास काला धन होता है वे उसके बदले नई मुद्रा लेने का साहस नहीं जूटा पाते और काला धन स्वयं ही नष्ट हो जाता है |

मुद्रा का वर्गीकरण (classification of money)

  • धातु मुद्रा (metallic money) – धातु से बनी मुद्रा कको धातु मुद्रा कहा जाता है |
  • मानक/पूर्ण मूल्य मुद्रा – यह वह मुद्रा है जिसका मूल्य वस्तु के रूप में गैर-अमौद्रिक उद्देश्यों के लिए भी उतना ही जितना की मुद्रा के रूप में उसका मूल्य है | इस तरह की मुद्रा सिक्को के रूप में जिसका अंकित मूल्य उसके यथार्थ मूल्य अथवा धातु मूल्य के बराबर होता है | मानक मुद्रा एक एसी असीमित मुद्रा है जिसमे कितनी भी राशि का भुगतान किया जा सकता है |
  • प्रतीक मुद्रा (Tokn money) – प्रतीक मुद्रा वह प्रतिनिधि मुद्रा है जिसका यथार्थ मूल्य उसके अंकित मूल्य से कम होता है |
  • सहायक मुद्रा – सहायक मुद्रा का काम प्रतीक मुद्रा की सहायता करना है |
  • कागज़ मुद्रा –कागज-मुद्रा से तात्पर्य कागज के बने विभिन्न अंकित मूल्य के नोटो से है जिसे देश का केंद्रीय बैंक तथा सरकार जारी करती है |
  1. प्रतिनिधि कागज मुद्रा – प्रतिनिधि कागज़ मुद्रा ‘वास्तव में पूर्ण-मूल्य सिक्को अथवा उसके बराबर की स्वर्ण-बुलियन की माल गोदाम की रसीद है जो प्रचलन में होती है |’ इसे प्रतिनिधि मुद्रा पूर्ण-मूल्य मुद्रा भी कहते है |
  2. परिवर्तनीय कागज़ मुद्रा – यह वह मुद्रा है जिसे मुद्रा पूर्ण मानक सिक्को अथवा बुलियन के रूप में शत प्रतिशत समर्थन प्राप्त नहीं होता परन्तु कागज मुद्रा का धारक उसे मांग पर बुलियन अथवा सिक्को में बदलवा सकता है |
  3. अपरिवर्तनीय कागज मुद्रा – जिस कागज मुद्रा को मानक सिक्को अथवा बुलियन का कोई समर्थन नहीं होता और जिससे उनमे परिवर्तन भी नहीं हो सकता है | उसे अपरिवर्तनीय कागज मुद्रा कहते है | देशो के केंद्रीय बैंको द्वारा जारी किये गये नोट अपरिवर्तनीय कागज मुद्रा होती है | इसे प्रत्य्यी मुद्रा भी कहते है |
  4. आदेश या अधिदीष्ट-मुद्रा – जो कागज मुद्रा सरकार के आदेश पर प्रचलित होती है उसे आदेश मुद्रा कहते है | भारत सरकार द्वारा जारी प्रतीक सिक्के आदेश मुद्रा है |

स्वीकार्य कसौटी – स्वीकार्यता कसौटी के आधार पर को वैध मुद्रा और अवैध मुद्रा में वर्गीकृत किया जा सकता है |

  1. वैध मुद्रा – जिसे सरकार तथा जनता दोनों ही भुगतान और ऋण चुकाने से साधन के रूप में स्वीकार करते है | किसी देश की सरकार और केंद्रीय बैंक द्वारा जारी किये गये नोट और सिक्के उस देश में अनिवार्य वैध मुद्रा होती है | वैध मुद्रा को दो भागो में बांटा गया है –
  • सीमित वैध मुद्रा – यह वह मुद्रा है जिसमे क़ानूनी तौर पर निश्चित सीमा रक भुगतान किया जा सकता है | भारत में 1 रु. से कम मूल्य के सिक्के सिमित वैध मुद्रा है | इन सिक्को में 25 रु. तक का भुगतान किया जा सकता है |
  • असीमित वैध मुद्रा – असीमित मात्रा में कानूनी तौर पर इसमें भुगतान किया जा सकता है | भारत में सभी कागज़ एक नोट और एक, दो, पांच, रूपये के सिक्के असीमित वैध मुद्रा है |
  1. अवैध मुद्रा – जिस मुद्रा को सरकार अथवा केंद्रीय बैंक की कानूनी मंजूरी नहीं होती उसे अवैध मुद्रा कहा जाता है | चैको, हुंडियों और प्रनोटों से प्रचलित मुद्रा अवैध मुद्रा है | लोगो लो इस तरह की मुद्रा स्वीकार करने पर बाध्य नहीं किया जा सकता है |

वास्तविक मुद्रा – किसी भी देश में मुद्रा अर्थात दैनिक जीवन में प्रयुक्त होने वाली मुद्रा ही वास्तविक मुद्रा है |

लेखे की मुद्रा – हिसाबी मुद्रा वह मुद्रा है जिसमे ऋण वस्तुओं की मूल्य तथा सामान्य क्रय शक्ति व्यक्त की जाती है |

1 विषय प्रोग्राम्स में विदेशी मुद्रा 2023

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मुद्रा लोन देने में बैंक करे आनाकानी तो इन नए नंबरों और ई-मेल पर करें कंप्लेन

प्रधानमंत्री मुद्रा योजना के तहत आपको 10 लाख रुपये तक का लोन मिल सकता है। इसमें शिशु लोन, किशोर लोन और तरुण मुद्रा लोन दिए जाते हैं। अपना मुद्रा पूर्ण मुद्रा पूर्ण बिजनेस शुरू करने या स्टार्ट-अप शुरू करना चाहते हैं.

मुद्रा लोन देने में बैंक करे आनाकानी तो इन नए नंबरों और ई-मेल पर करें कंप्लेन

प्रधानमंत्री मुद्रा योजना के तहत आपको 10 लाख रुपये तक का लोन मिल सकता है। इसमें शिशु लोन, किशोर लोन और तरुण मुद्रा लोन दिए जाते हैं। अपना बिजनेस शुरू करने या स्टार्ट-अप शुरू करना चाहते हैं तो शिशु मुद्रा लोन के तहत आपको 50 हजार रुपये मिल सकते हैं।

वहीं, किशोर मुद्रा लोन स्कीम के तहत वे लोग आवेदन कर सकते हैं, जिनका अपना बिजनेस हो, लेकिन अभी स्थापित नहीं हो पाए हैं, ऐसे लोग 50 हजार रुपये से लेकर 5 लाख रुपये तक का लोन ले सकते हैं। इसके लिए आपको 14 से 17 फीसदी तक ब्याज देना पड़ सकता है और तरुण मुद्रा लोन के तहत बिजनेस के विस्तार के लिए दस लाख रुपये तक लोन मिल सकता है। इस पर 16 फीसदी का ब्याज देना पड़ता है।

लोन लेने से पहले पहले यह तय करें कि आपको किस कैटेगरी में लोन चाहिए. आप शिशु लोन चाहते हैं या फिर किशोर या मुद्रा लोन। अपना लोन प्रपोजल के साथ मुद्र लोन की वेबसाइट पर जरूरी फॉर्म भर सकते हैं। आवेदन के लिए https://www.mudra.org.in/ पर क्लिक करें। इसमें जाकर निर्धारित लोन जरूरत के लिए अप्लाई करें।

लोन के लिए जरूरी डॉक्युमेंट्स

स्टेट बैंक ऑफ इंडिया से मुद्रा लोन लेने के लिए पहचान पत्र, निवास प्रमाण, बैंक स्टेटमेंट, फोटोग्राफ, बिक्री दस्तावेज, प्राइस कोटेशन्स बिज़नस ID और पता प्रमाण पत्र की जरूर होती है। इसके अलावा जीएसटी आइडेंटिफिकेशन नंबर, इनकम टैक्स रिटर्न की भी जानकारी देनी होगी. एसबीआई की इस वेबसाइट पर जाकर आप मुद्रा लोन के लिए आवेदन कर सकते हैं।

अगर हकीकत की बात करें तो गांव-कस्बों यहां तक छोटे शहरों के बैंकों से इस लोन को पाना टेढ़ी खीर है। मुद्रा लोन आसानी से नहीं मिलता। बैंक अक्सर मुद्रा लोन देने में आनाकानी करते हैं। अगर आप भी बैंकों के रवैये से त्रस्त हैं तो हम आपको वे नंबर और ई-मेल आईडी दे रहे हैं, जिनपर मुद्रा लोन नहीं देने वाले बैंकों की शिकायत की जा सकती है।

ये हैं उन अधिकारियों के नंबर और ई-मेल आईडी, जिनपर की जा सकती है शिकयत

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